Published - 10 Aug 2021 by Tractor Junction
प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना (Pradhan Mantri Ujjwala Yojana) के पहले चरण की अपार सफलता के बाद मंगलवार को प्रधानमंत्री मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम इसके दूसरे चरण का शुभारंभ किया। कार्यक्रम की शुरुआत यूपी के महोबा जिले के लाभार्थियों को एलपीजी कनेक्शन सौंपकर की गई। इस दौरान पीएम मोदी ने कुछ लाभार्थियों के साथ बातचीत भी की जिसमें उन्होंने पीएम से अपने अनुभव साझा किए। इस अवसर पर पीएम मोदी ने कहा कि आज उज्ज्वला योजना के अगले चरण में कई बहनों को मुफ्त गैस कनेक्शन और गैस चूल्हा मिल रहा है मैं सभी लाभार्थियों को फिर से बहुत-बहुत बधाई देता हूं। मोदी ने कहा कि बीते साढ़े सात दशकों की प्रगति को हम देखते है तो हमें जरूर लगता है कि कुछ स्थितियां, कुछ हालात ऐसे हैं जिनको कई दशक पहले बदला जा सकता था। घर, बिजली, पानी, शौचालय, गैस, सडक़, अस्पताल, स्कूल, ऐसी अनेक मूल आवश्यकताएं है जिनकी पूर्ति के लिए दशकों का इंतजार देशवासियों को करना पड़ा, ये दु:खद है। हमारी बेटियां घर और रसोई से बाहर निकलकर राष्ट्रनिर्माण में व्यापक योगदान तभी दे पाएंगी, जब पहले घर और रसोई से जुड़ी समस्याएं हल होंगी। इसलिए, बीते 6-7 सालों में ऐसे हर समाधान के लिए मिशन मोड पर काम किया गया है। बहनों के स्वास्थ्य, सुविधा और सशक्तिकरण के इस संकल्प को उज्ज्वला योजना ने बहुत बड़ा बल दिया है।
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उज्जवलता योजना 2.0 में एलपीजी कनेक्शन के साथ भरा हुआ सिलेंडर निशुल्क मिलेगा। वित्तीय वर्ष 2021-22 में इस योजना के तहत 1 करोड़ एलपीजी गैस कनेक्शन बांटने के लिए अलग से फंड जारी किया गया है। गैस कनेक्शन कम आय वाले उन परिवारों को दिए जाएंगे, जो उज्ज्वला योजना के पहले चरण में शामिल नहीं हो सके थे। इस योजना से ग्रामीण इलाकों के किसान परिवार बड़ी संख्या में लाभान्वित हो सकेंगे। आपको बता दें कि पात्र लोगों को सिर्फ पहला भरा सिलेंडर ही फ्री में मिलता है।
पीएम मोदी ने कहा कि उज्जवला योजना के पहले चरण में 8 करोड़ गरीब, दलित, वंचित, पिछड़े, आदिवासी परिवारों की बहनों को मुफ्त गैस कनेक्शन दिया गया। प्रधानमंत्री आवास योजना में 2 करोड़ से अधिक गरीबों के पक्के घर बने हैं। इन घरों में अधिकतर मालिकाना हक महिलाओं का है। हमने हजारों किमी ग्रामीण सडक़ें बनाई, तो सौभाग्य योजना के जरिए करीब 3 करोड़ गरीब परिवारों को बिजली कनेक्शन दिया।
बुंदेलखंड सहित पूरे यूपी और दूसरे राज्यों के हमारे अनेक साथी, काम करने के लिए गांव से शहर जाते हैं, दूसरे राज्य जाते हैं, लेकिन वहां उनके सामने एड्रेस के प्रमाण की समस्या आती है। ऐसे ही लाखों परिवारों को उज्ज्वला 2.0 योजना सबसे अधिक राहत मिलेगी। अब मेरे श्रमिक साथियों को एड्रेस के प्रमाण के लिए इधर-उधर भटकने की जरूरत नहीं है। सरकार को आपकी ईमानदारी पर पूरा भरोसा है। आपको अपने पते का सिर्फ एक सेल्फ डेक्लेरशन, यानि खुद लिखकर देना है और आपको गैस कनेक्शन मिल जाएगा।
मोदी ने बताया कि सरकार का प्रयास इस दिशा में भी है कि आपकी रसोई में पानी की तरह गैस भी पाइप से आए। ये गैस सिलेंडर के मुकाबले बहुत सस्ती भी होती है। उत्तर प्रदेश सहित पूर्वी भारत के अनेक जिलों में एलपीजी कनेक्शन देने का काम तेजी से चल रहा है।
वर्ष 2016 में केंद्र सरकार ने प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना की शुरुआत की थी। इसके तहत सरकार गरीबी रेखा के नीचे रहने वाले लाभार्थियों को एलपीजी का कनेक्शन दिया जाता है। इस योजना का लाभ केवल महिलाएं उठा सकती हैं। आवेदक महिला की उम्र कम से कम 18 साल होनी चाहिए। साथ ही एक ही घर में इस योजना के तहत कोई अन्य एलपीजी कनेक्शन नहीं होना चाहिए।
साल 2016 में शुरू किए गए उज्ज्वला योजना के दौरान गरीबी रेखा से नीचे जीवन बसर करने वाले परिवारों की 5 करोड़ महिला सदस्यों को एलपीजी कनेक्शन उपलब्ध कराने का लक्ष्य रखा गया था। अप्रैल 2018 में इस योजना का विस्तार किया गया और इसमें सात और श्रेणियों (अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति, पीएमएवाई, एएवाई, अत्यंत पिछड़ा वर्ग, चाय बागान, वनवासी, द्वीप समूह) की महिला लाभार्थियों को शामिल किया गया। इसके लक्ष्य को संशोधित कर 8 करोड़ एलपीजी कनेक्शन कर दिया गया। इस लक्ष्य को निर्धारित तिथि से सात महीने पहले अगस्त 2019 में ही हासिल कर लिया गया था। वित्तीय वर्ष 21-22 के केंद्रीय बजट में पीएमयूवाई योजना के तहत एक करोड़ अतिरिक्त एलपीजी कनेक्शन के प्रावधान की घोषणा की गई थी। इन एक करोड़ अतिरिक्त पीएमयूवाई कनेक्शन (उज्ज्वला 2.0 के तहत) का उद्देश्य कम आय वाले उन परिवारों को जमा-मुक्त एलपीजी कनेक्शन प्रदान करना है, जिन्हें पीएमयूवाई के पहले चरण के तहत शामिल नहीं किया जा सका था।
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