प्रकाशित - 19 Mar 2024
रबी की कटाई के बाद किसान खरीफ फसलों की तैयारियां करेंगे। इसके लिए उन्हें कृषि यंत्रों/कृषि मशीनों (Agricultural Machinery/Agriculture Machines) की आवश्यकता होगी। बाजार में कृषि यंत्रों की कीमत (price of agricultural equipment) अधिक होने से छोटे व सीमांत किसान इसे नहीं खरीद पाते हैं। ऐसे में सरकार की ओर से कृषि यंत्रों की खरीद पर सब्सिडी (subsidy on agricultural equipment) दी जाती है ताकि छोटे किसान भी आसानी से कृषि यंत्र (agricultural machinery) की खरीद कर खेतीबाड़ी के काम को कम समय और श्रम में पूरा का सकें।
कृषि यंत्रों पर किसानों को अनुदान का लाभ प्रदान करने के लिए कृषि यंत्र अनुदान योजना (krishi yantra anudan yojana) चलाई जा रही है। इस योजना को अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग नाम से चलाया जा रहा है। मध्यप्रदेश में ई-कृषि अनुदान योजना (E-krishi yantra anudan yojana) तो यूपी में कृषि यंत्रीकरण योजना (krishi yantrikaran yojana), राजस्थान में कृषि यंत्र अनुदान योजना (krishi yantra anudan yojana) के नाम से चलाया जा रहा है। इसी कड़ी में बिहार सरकार की ओर से इस योजना को कृषि यांत्रिकरण राज्य योजना (krishi yaantrikaran rajya yojana) के नाम से चलाया जा रहा है।
इस योजना के तहत कृषि मशीनरी बैंक (Agricultural Machinery Bank) या कस्टम हायरिंग सेंटर (Custom Hiring Center) खोलने के लिए राज्य के किसानों को 75 प्रकार के कृषि यंत्रों पर 80 प्रतिशत तक सब्सिडी (subsidy) दी जाएगी। इसके लिए बिहार सरकार 5 अप्रैल 2024 से आवेदन शुरू करने जा रही है। जो किसान राज्य सरकार की इस योजना के तहत कृषि मशीनरी बैंक या कस्टम हायरिंग सेंटर खोलकर कमाई करना चाहते हैं, वे इस योजना का लाभ उठा सकते हैं।
राज्य सरकार की ओर से सब मिशन ऑन एग्रीकल्चरल मैकेनाईजेशन योजना (Agricultural Mechanization Scheme (SMAM)) के तहत 257 कृषि यंत्र बैंक या कस्टम हायरिंग सेंटर बनाएं जाएंगे। इसके लिए प्रति कस्टम हायरिंग सेंटर के लिए लागत 10 लाख रुपए निर्धारित की गई है। योजना के तहत किसानों को कृषि यंत्रों की खरीद पर 40 प्रतिशत सब्सिडी (subsidy) यानी 4 लाख रुपए दिए जाएंगे। राज्य सरकार, प्रदेश में कस्टम हायरिंग सेंटर की स्थापना के लिए करीब 1068 लाख रुपए खर्च करेगी। इन कस्टम हायरिंग सेंटर या कृषि मशीनरी बैंक से क्षेत्र के किसान किराये पर कृषि यंत्र ले सकेंगे। इस योजना से खासकर छोटे किसानों को लाभ होगा जो आर्थिक स्थिति कमजोर होने के कारण महंगे कृषि यंत्र नहीं खरीद पाते हैं।
कृषि यंत्रीकरण योजना (2024-25) के तहत 75 प्रकार के कृषि यंत्रों पर सब्सिडी (subsidy) का लाभ प्रदान किया जाएगा। इन कृषि यंत्रों में खेत की जुताई, बुवाई, निराई-गुड़ाई, सिंचाई, कटाई आदि के यंत्र व मशीनों पर अनुदान दिया जाएगा। इसके अलावा उद्यान से संबंधित कृषि यंत्र भी इसमें शामिल किए गए हैं। योजना के तहत अवशेष प्रबंधन से संबंधित कृषि यंत्र जैसे- हैप्पी सीडर (Happy Seeder), सुपर सीडर (super seeder), स्ट्रॉ बेलर (straw baler) और स्ट्रॉ मैनेजमेंट सिस्टम (Straw Management System) को भी शामिल किया गया है जिस पर सरकार की ओर अनुदान दिया जाएगा।
कृषि यंत्रीकरण योजना के तहत कस्टम हायरिंग सेंटर के लिए कृषि यंत्रों की खरीद पर लाभार्थी को 40 से 80 प्रतिशत तक सब्सिडी (subsidy) दी जाएगी। यह सब्सिडी अलग-अलग कृषि यंत्रों पर अलग-अलग उसकी लागत के अनुसार दी जाएगी। जिसकी लिस्ट योजना की आधिकारिक वेबसाइट पर दी गई है। आपकी सुविधा के लिए हम खबर के अंत में इसका लिंक देंगे ताकि आप किस कृषि यंत्र पर कितनी सब्सिडी मिलेगी इसकी जानकारी कर सकें। योजना के तहत जिलों के लिए निर्धारित की गई राशि का कम से कम 18 प्रतिशत अत्यंत पिछड़ा वर्ग (ईबीसी) के किसानों को दिया जाएगा। बिहार राज्य के कृषि यंत्र निर्माताओं द्वारा निर्मित सूचीबद्ध कृषि यंत्रों पर अनुदान दर प्रतिशत तथा अनुदान दर के अधिकतम सीमा में 10 प्रतिशत बढ़ोतरी कर किसानों को अनुदान का लाभ प्रदान किया जाएगा। लेकिन किसी भी परिस्थिति में अनुदान दर यंत्र की कीमत के 80 प्रतिशत से अधिक नहीं होगी।
योजना के तहत राज्य के प्रगतिशील किसान, जीविका समूह, ग्राम संगठन और कलस्टर फेडरेशन आवेदन कर सकते हैं। इस योजना के तहत लाभार्थी अपनी सुविधा के अनुसार किसी भी जगह से ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। आवेदन करते समय इस बात का ध्यान रखना होगा कि आवेदनकर्ता द्वारा पहले से इस योजना के तहत कृषि यंत्र बैंक या कस्टम हायरिंग सेंटर के लिए अनुदान का लाभ नहीं लिया गया हो।
योजना के तहत बिहार के पात्र लाभार्थी व्यक्ति कृषि विभाग की आधिकारिक वेबसाइट https://farmech.bih.nic.in/FMNEW/Homenew.aspx पर 5 अप्रैल से ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। कृषि यांत्रिकरण सॉफ्टवेयर OFMAS पर आवेदन करने से पूर्व कृषि विभाग बिहार के DBT पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन करना जरूरी है। बिना रजिस्ट्रेशन नंबर के OFMAS में आवेदन स्वीकार नहीं किया जाएगा। वर्तमान वित्तीय वर्ष में अनुदानित दर पर कृषि यंत्रों की खरीद के लिए किसान से प्राप्त योग्य आवेदन में से ऑनलाइन लॉटरी के माध्यम से आवेदक का चयन किया जाएगा। लॉटरी की तिथि को ही परमिट जारी किया जाएगा जिसकी वैधता 21 दिन की होगी।
ट्रैक्टर जंक्शन हमेशा आपको ट्रैक्टर इंडस्ट्री और खेती से संबंधित सटीक जानकारी देकर अपडेट रखता है। ट्रैक्टर और कृषि उपकरणों के नए मॉडल और उनके उपयोग की जानकारी आपको सबसे पहले ट्रैक्टर जंक्शन पर मिलती है। हम सरकारी योजनाओं की खबरों को प्रमुखता से प्रकाशित करते हैं। हमारी वेबसाइट पर प्रमुख ट्रैक्टर कंपनियों स्वराज ट्रैक्टर, न्यू हॉलैंड ट्रैक्टर आदि की मासिक सेल्स रिपोर्ट सबसे ज्यादा पढ़ी जाती है। अगर आप मासिक सदस्यता प्राप्त करना चाहते हैं तो हमसे संपर्क करें।
अगर आप किफायती कीमत पर नया ट्रैक्टर खरीदना चाहते हैं तो महिंद्रा, स्वराज, टैफे, सोनालिका, जॉन डियर आदि कंपनियों में से उचित ट्रैक्टर का चयन कर सकते हैं। साथ ही हम आपको ट्रैक्टर लोन (Tractor Loan) की सुविधा भी प्रदान करते हैं।
अगर आप नए जैसे पुराने ट्रैक्टर व कृषि उपकरण बेचने या खरीदने के इच्छुक हैं और चाहते हैं कि ज्यादा से ज्यादा खरीददार और विक्रेता आपसे संपर्क करें और आपको अपने ट्रैक्टर या कृषि उपकरण का अधिकतम मूल्य मिले तो अपने बिकाऊ ट्रैक्टर / कृषि उपकरण को ट्रैक्टर जंक्शन के साथ शेयर करें।
Social Share ✖