प्रकाशित - 03 Oct 2022
खरीफ फसल की कटाई का काम शुरू हो गया है। इसके बाद किसान रबी फसलों की बुवाई करेंगे। ऐसे में राजस्थान सरकार की ओर से किसानों को लाभ पहुंचाने के लिए सरसों की उन्नत किस्मों के बीज फ्री में वितरित करने का फैसला लिया गया है। इसके लिए किसानों को सरसों की 9 उन्नत किस्मों के बीज वितरित किए जाएंगेेेे ताकि प्रदेश मेें तिलहन उत्पादन को बढ़ाया जा सके। इससे राज्य के लाखों किसानों को लाभ होगा। बता दें कि सरकार चाहती है कि देश में दलहन और तिलहन के उत्पादन बढ़े ताकि देश इसमें आत्मनिर्भर बन सके जिससे देश के बाहर से तेल का आयात नहीं करना पड़े।
रबी सीजन 2022-23 में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा मिशन-तिलहन के अंतर्गत सरसों विशेष कार्यक्रम के तहत 9 प्रकार की उन्नत किस्मों का वितरण राजस्थान सरकार की ओर से किसानों को किया जाएगा। इस योजना का लाभ राज्य के 30 जिलों के किसानों को मिलेगा। इसके तहत किसानों को फ्री में सरसों के बीजों का वितरण किया जाएगा। इससे किसानों को अच्छे बीज मिल सकेंगे जिससे पैदावार में बढ़ोतरी होगी और साथ ही किसानों की आय में भी इजाफा होगा।
राज्य सरकार की ओर से किसानों को सरसों के बीजों के 7,34,400 मिनी किट वितरित करने का लक्ष्य रखा गया है। इन किट का वितरण राज्य के 30 जिलों में किया जाना है। प्रत्येक मिनी किट में 2 किलोग्राम बीज होंगे। सरकार का अनुमान है कि इससे राज्य में 3 लाख हेक्टेयर क्षेत्रफल में सरसों की बुवाई की जा सकेगी। बता दें कि राजस्थान सरकार की ओर से प्रदेश में तिलहन की पैदावार तथा रकबा बढ़ाने के लिए किसानों को नि:शुल्क मिनी किट का वितरण किया जा रहा है।
राजस्थान सरकार की ओर से राज्य के किसानों को रबी सीजन 2022-23 में सरसों विशेष कार्यक्रम के तहत सरसों की 9 उन्नत किस्मों के बीज का वितरण नि:शुल्क किया जाएगा। इस योजना के तहत कृषि विभाग किसानों को सरसों की नई किस्मों व 10 वर्ष से कम अवधि की किस्मों को का वितरण करेगा जो इस प्रकार से हैं-
1. आर.एच.-725
2. गिरिराज
3. आर.एच.- 761
4. सी.एस. -58
5. आर.जी.एन.-298
6. पी.एम.-31
7. आर.एच.-749
8. जी.एम.-3
9. सी.एस.-60
राजस्थान सरकार की ओर से सरसों की अच्छी पैदावार के लिए किसानों को दी जाने वाली उन्नत किस्मों की यह विशेषता है कि ये किस्में अधिक उत्पादन देने में समक्ष हैं। इनके उपयोग से तिलहन का रकबा क्षेत्र में बढ़ेगा जिससे किसानों की आय बढ़ेगी। इस किस्म में उत्पादन अधिक मिलने के साथ ही ये किस्में रोग-प्रतिरोधक क्षमता वाली है। इससे किसानों को सरसों का अच्छा उत्पादन प्राप्त होगा। बता करें सरसों की आरएच 725 किस्म की तो यह किस्म 136 से 143 दिनों में पक कर तैयार हो जाती है। इसकी फलियां लंबी होती हैं व फलियों में दानों की संख्या 17-18 तक है तथा दानों का आकार मोटा है। इनके अलावा इसकी फलियों वाली शाखाएं लंबी होती हैं एवं उनमें फुटाव भी ज्यादा है। वहीं सरसों की गिरिराज किस्म से करीब 25 क्विंटल प्रति हैक्टेयर तक उपज प्राप्त की जा सकती हैं। सरसों की नई किस्म शुद्ध होने से फसल में फली ज्यादा आती है और इसके दाने भी भारी होते हैं। फसल में रोग नहीं लगता है और तेल ज्यादा निकलता है। इसी प्रकार सरसों की उपरोक्त किस्मों से अधिक उपज और तेल की मात्रा पाई जा सकती है।
सरसों की मिनी किट प्राप्त करने के लिए कुछ पात्रता निर्धारित की गई है जिसके तहत किसानों को फ्री में बीज दिए जाएंगे। सरसों विशेष कार्यक्रम में वितरित किए जाने वाले मिनी किट का आयोजन जिले के ग्राम पंचायतों के गांवों में करवाया जाएगा। सरसों मिनी किट आयोजन के लिए क्षेत्र में कम से कम 25 हेक्टेयर का क्लस्टर बनाया जाएगा। सरसों बीज मिनी किट का वितरण केवल महिला किसानों को ही किया जाएगा। जिसमें कम से कम 50 प्रतिशत लघु एवं सीमांत महिला कृषकों को दिये जाएंगे। अनुसूचित जाति, अनुसूचित जन जाति तथा गरीबी की रेखा में जीवनयापन करने वाले किसानों एवं गैर-खातेदार/ खातेदार किसानों को प्राथमिकता दी जाएगी।
सरकार की ओर से सरसों के फ्री बीज दिए जा रहे हैं। इसके लिए इच्छुक किसान ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। किसानों को फ्री बीज के लिए राज किसान साथी पोर्टल पर जन आधार कार्ड के माध्यम से आवेदन करना होगा। इसलिए जो पात्र किसान इस योजना का लाभ उठाना चाहते हैं वे ऑनलाइन तरीके से राज किसान साथी पोर्टल पर जन आधार कार्ड के माध्यम से आवेदन कर सकते हैं। सरसों के फ्री बीज लेने के लिए किसान https://rajkisan.rajasthan.gov.in पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। इसके बाद चयनित किसानों को सरसों की उन्नत किस्मों के बीजों का निशुल्क वितरण किया जाएगा।
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