किसानों को बैंक से मिलेगा बिना ब्याज के ऋण, ब्याज का खर्च उठाएगी सरकार

Share Product Published - 05 Mar 2022 by Tractor Junction

किसानों को बैंक से मिलेगा बिना ब्याज के ऋण, ब्याज का खर्च उठाएगी सरकार

5 लाख किसानों को होगा लाभ, बजट में किया 100 करोड़ रुपए का प्रावधान

किसानों की आर्थिक रूप से मदद करने के लिए सरकार की ओर से कई योजनाओं का क्रियान्वयन हो रहा है। वहीं बजट में भी विशेष रूप से किसानों को केंद्र में रखकर घोषणाएं की जा रही हैं। ऐसे में हाल ही में राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार ने किसानों की वित्त संबंधी जरूरतों को ध्यान में रखते हुए बिना ब्याज के बैंक से ऋण प्रदान करने की घोषणा की है। बता दें कि अभी कुछ दिन पहले ही राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने वर्ष 2022-23 के बजट पेश करते हुए घोषणा की है कि इस वित्त वर्ष में राज्य के किसानों को 20,000 करोड़ रुपए तक का फसली ऋण शून्य प्रतिशत के ब्याज दर पर दिया जाएगा। यह फसली ऋण पहले से दिये जा रहे है। किसानों के अलावा 5 लाख नए किसानों को भी दिया जाएगा। इसके लिए राज्य सरकार की ओर से 100 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। 

पिछले साल कितने किसानों को मिला शून्य ब्याज पर फसली ऋण

राज्य सरकार ने पिछले वित्त वर्ष में 2.57 लाख नए किसानों को फसली ऋण दिया गया था। बजट भाषण में बताया गया कि फसली ऋण किसानों को शून्य प्रतिशत के ब्याज पर दिया जाएगा, ब्याज का भार राज्य सरकार उठाएगी। फसली ऋण के कारण राज्य पर 650 करोड़ रुपए का भार आएगा। मुख्यमंत्री ने अपने बजट भाषण में कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में कई किसान परिवार, कृषि एवं पशुपालन के साथ नॉन फार्मिंग गतिविधियां जैसे- हस्तशिल्प, लघु उद्योग, कताई-बुनाई, रंगाई-छापाई आदि का काम करते हैं, यह वर्ग आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग हैं। राज्य सरकार इस वर्ष अकृषि क्षेत्र में भी 1 लाख परिवारों को 2 हजार करोड़ रुपए के ब्याज मुक्त ऋण वितरित करेगी। इस योजना के लिए राज्य सरकार ने बजट में 100 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। बता दें कि किसानों को क्रेडिट कार्ड से एक लाख रुपए तक का फसली ऋण बिना ब्याज के मुहैया कराया जाता है। वहीं किसान क्रेडिट कार्ड से 3 लाख रुपए तक का ऋण ले सकते हैं। 

पहले से जारी है ये शून्य ब्याज पर ऋण फसली ऋण योजना

बता दें कि राजस्थान सरकार की ओर से पहले से ब्याज मुक्त योजना संचालित है जिसे आगे भी जारी रखा जाएगा। राज्य में वर्ष 2012-13 से किसानों को शून्य प्रतिशत के ब्याज पर फसली ऋण दिया जा रहा है। वर्ष 2021-22 के वित्त वर्ष में राज्य के किसानों को 25,000 करोड़ रुपए का फसली ऋण देने का लक्ष्य रखा गया था। 23 दिसंबर तक खरीफ तथा रबी फसल को मिलाकर 23 हजार 500 करोड़ रुपए तक का फसली ऋण किसानों को दिया जा चुका है। योजना के तहत 2.57 लाख नए किसानों को पिछले वर्ष जोड़ा गया है।

क्या है शून्य ब्याज पर ऋण योजना

आपको बता दें कि क्रेडिट कार्ड योजना के तहत किसानों को 3 लाख का लोन 7 प्रतिशत की ब्याज दर पर दिया जाता है। इस लोन को 1 साल के भीतर चुकाना पड़ता है, जिस पर किसानों को 4 प्रतिशत की सब्सिडी भी मिलती है। किसान किसी भी राष्ट्रीय और निजी बैंक से यह लोन प्राप्त कर सकता है। इसी तरह राज्य सरकारें भी कृषि संबंधी कार्यों के लिए कृषि लोन की सुविधा उपलब्ध कराती हैं। इस कृषि लोन को राज्य सरकार के सहकारी बैंक से प्राप्त किया जा सकता है। इस योजना को फसल ऋण कहा जाता है। खास बात है कि किसानों को इस लोन पर कोई ब्याज नहीं देना पड़ता है। 

समय पर ऋण नहीं चुकाने पर लगता है 14 प्रतिशत का ब्याज

किसानों के द्वारा सहकारी बैंक से ऋण प्राप्त करने पर समय नहीं चुकाने पर किसानों को भारी ब्याज लिया जाता है। किसानों द्वारा समय पर ऋण नहीं देने पर वितरण से अंतिम तिथि के बाद 14 प्रतिशत की ब्याज दर पर भुगतान करना होता है। 

राजस्थान में फसली ऋण किसान कब से ले सकते हैं

सहकारी बैंक से दिए जाने वाले फसली ऋण वर्ष भर में दो बार दिया जाता है। यह ऋण समय पर चुकाने पर ब्याज नहीं देना होता है। राजस्थान के सहकारिता मंत्री ने बताया कि केंद्रीय सहकारिता बैंकों द्वारा वितरित होने वाला अल्पकालीन फसली ऋण खरीफ सीजन में 1 अप्रैल से 31 अगस्त तक दिया जाता है तथा रबी सीजन में 1 सितंबर से 31 मार्च तक किसानों को वितरित किया जाता है। 

मध्यप्रदेश में बिना ब्याज के फसली ऋण योजना की अवधि को एक वर्ष के लिए और बढ़ाया

राजस्थान की तरह ही मध्यप्रदेश सरकार भी राज्य के किसानों को शून्य ब्याज दर पर ऋण सुविधा का लाभ प्रदान करती है। इस बार मध्य प्रदेश सरकार ने शून्य ब्याज पर किसानों को ऋण देने की योजना को एक साल के लिए बढ़ाने का फैसला किया है। वर्ष 2022-23 के लिए इस तरह के लोन के लिए 17 हजार करोड़ रुपये बांटने का लक्ष्य तय किया गया है। वर्तमान वित्त वर्ष में इस योजना के तहत 30 लाख किसान लाभ उठा चुके हैं। इन किसानों को 24 दिसंबर 2021 तक 13 हजार 707 करोड़ रुपए का ऋण बांटा गया। 

छत्तीसगढ़ में भी किसानों को बिना ब्याज के दिया जाता है व्यक्तिगत ऋण

रायपुर. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की घोषणा के बाद लाख उत्पादक किसान व समूहों के लिए अल्पकालीन ऋण लेने का रास्ता खुल गया है। इसके लिए सहकारिता विभाग ने नियमों का खाका तैयार कर लिया है। इसके तहत लाख उत्पादक समूह को अधिकतम 2 लाख और व्यक्तिगत रूप से किसान 50 हजार रुपए का अल्पकालीन ऋण ले सकते हैं। यह ऋण शून्य ब्याज दर पर मिलेगा। इससे प्रदेश के करीब 36 हजार किसानों को फायदा होगा। सहकारिता विभाग की ओर से इसके नियम जारी हो गए हैं। इसमें कई शर्तों को जोड़ा गया है। समूहों का ऋण प्रकरण तभी तैयार होगा, जब उनके पास सीड मनी के रूप में 50 हजार रुपए होंगे। इसी के साथ लाख उत्पादक किसानों को कर्ज देने के लिए अनुपात भी तय कर दिया गया है। उन्हें 60: 40 के हिसाब से कर्ज दिया जाएगा। किसानों को 60 फीसदी नकद और 40 वस्तु ऋण दिया जाएगा। शासन ने यह स्पष्ट कर दिया है कि किसी भी स्थिति में किसानों को 60 फीसदी से अधिक की राशि नकद रूप में नहीं दी जाएगी।

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