प्रकाशित - 13 May 2023 ट्रैक्टर जंक्शन द्वारा
गन्ना एक नकदी फसल है, इससे बड़ी संख्या में लोगों को रोजगार मिलता है। गन्ने से चीनी व गुड़ बनाया जाता है। चीनी मिलों के लिए गन्ना एक कच्चा माल होता है जिसका उपयोग करके चीनी का उत्पादन किया जाता है। भारत का दुनिया में चीनी उत्पादन में दूसरा स्थान है। गन्ने के क्षेत्रफल में भारत का विश्व में प्रथम स्थान है। गन्ना भारत में लाखों लोगों की आजीविका का साधन है। इससे बनाई गई चीनी का विदेशों में निर्यात किया जाता है जिससे देश को विदेशी मुद्रा प्राप्त होती है। गन्ना के लिए अलग से गन्ना मूल्य नीति तैयार की गई है जिसके तहत गन्ने का मूल्य निर्धारित किया जाता है। केंद्र सरकार द्वारा जो गन्ने का मूल्य निर्धारित किया जाता है उसे एफआरपी कहते हैं। देश में सबसे ज्यादा गन्ने का उत्पादन उत्तरप्रदेश में होता है। यहां लाखों की संख्या में किसान और मजदूर गन्ना और चीनी मिलों में लगे हुए हैं। देश में करीब 30 लाख हैक्टेयर क्षेत्रफल में गन्ने की खेती की जाती है जिसमें अकेले उत्तर प्रदेश में गन्ने की औसत उपज 81 टन प्रति हैक्टेयर है। इसके अलावा महाराष्ट्र, तमिलनाडु, कर्नाटक, आंध्र प्रदेश, बिहार, गुजरात, हरियाणा, पंजाब, उत्तराखंड में भी गन्ने की खेती की जाती है। सरकार की ओर भी गन्ने और चीनी के उत्पादन को बढ़ाने का प्रयास किए जा रहे हैं। इसके अलावा गन्ने की नई-नई किस्में भी इसका उत्पादन बढ़ाने में एक बड़ी भूमिका निभा रही हैं। गन्ने की खेती से अधिक उत्पादन कैसे लिया जाए? गन्ने की फसल के साथ किन फसलों की बुवाई की जा सकती है? आदि जैसे कई सवालों का जवाब हर किसान जानना चाहता है।
आज हम ट्रैक्टर जंक्शन माध्यम से गन्ना किसानों के लिए गन्ने का उत्पादन बढ़ाने और इससे अतिरिक्त आमदनी प्राप्त करने के तरीकों के बारे में जानकारी दे रहे हैं।
मई का महीना चल रहा है किसान इस माह गन्ने की फसल में कुछ आवश्यक कार्य करें तो उन्हें लाभ होगा, ये कार्य इस प्रकार से हैं
कई जगह किसान गेहूं की कटाई के बाद बसंतकालीन गन्ने की बुवाई करते हैं, आमतौर पर बसंतकालीन गन्ने की बुवाई पूर्वी क्षेत्र में मध्य जनवरी से फरवरी, मध्य क्षेत्र में फरवरी से मार्च और पश्चिमी क्षेत्र में मध्य फरवरी से अप्रैल तक की जाती है। ऐसे में इस बार बहुत से किसानों ने बसंतकालीन गन्नें की बुवाई की है। यदि किसान बंसतकालीन गन्ने से अधिक आदमनी प्राप्त करना चाहते हैं तो गन्ने की फसल के बीच खाली जगह पर अन्य फसलें उगाकर अच्छी कमाई कर सकते हैं। बसंतकालीन गन्ने की फसल के साथ आप अंतरवर्ती या अंत: फसल लेकर अतिरिक्त कमाई कर सकते हैं। गन्ने के साथ आप उड़द, मूंग, भिंडी तथा लोबिया की खेती करके इससे अतिरिक्त आय प्राप्त कर सकते हैं।
गन्ने की अच्छी पैदावार प्राप्त करने के लिए किसानों को कुछ बातों का ध्यान रखना चाहिए, ये बातें इस प्रकार से हैं
गन्ने की अधिक उपज पाने के लिए किसानों कुछ उपाय कर सकते हैं, जो इस प्रकार से हैं
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